दुर्ग के गौठान मन म हाईप्रोटीन संग अजोला ले पशु होही सुपोषित

दुर्ग, नरवा गरवा घुरवा अऊ बाड़ी योजना के तहत स्थापित गौठान पशुसंवर्धन के एक नवा इबारत लिखे बर तियार होवत हे। गौठान मवेशी मन बर न केवल सुरक्षित रहवास के रूप लेवत हे भलुक इहां उंखर बनेच देखभाल के व्यवस्था घलोक करे जात हे। मवेशी मन बर भरपूर पौष्टिक आहार के इंतजाम बर पशुधन विभाग कोति ले इहां टांका बना के अजोला कल्चर तियार करे जात हे। उपसंचालक पशुधन विकास डॉ. एम. के. चावला ह बताइस कि शुरुआती चरण म जिला के 10 मॉडल गौठान मन म अजोला कल्चर करे जात हे। एखर बाद जिला के सबो 224 गौठान मन म अजोला कल्चर शुरू करे के योजना हे।

अमलीडीह गौठान म 12 बांका म तियार होवत हे अजोला –
पाटन तहसील के अमलीडीह गौठान म 400 मवेशी मन ल आसरा मिले हे। 4 एकड़ के ये गौठान म 1/2 एकड़ म तालाब बने हे। जेखर से जलसंवर्धन के संगें-संग मवेशी मन बर पेयजल के पूर्ति घलोक करे गए हे। इहां अभी हाल म 12 टांका मन म अजोला कल्चर करे जात हे। गौठान म पशु मन ल सूखा चारा के संगे-संग अजोला घलोक आहार के रूप म देहे जाही। ताकि ऊंखर पोषण स्तर म सुधार हो सकय। एखर से किसान मन अऊ पशुपालक मन ल अकतहा आमदनी के संगे-संग राज्य सरकार के पशुसंवर्धन बर स्थापित नरवा गरवा घुरुआ बाड़ी योजना ल घलोक मजबूती मिलही। पशुधन विभाग कोति ले किसान मन अऊ पशुपाल मन ल एखर लाभ के बारे म बताए जात हे। ताकि ओ मन अपन पशु मन बर कम खरचा म अच्छा पोषण आहार उपजा सकत हें।

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