रायपुर, राजभाषा छत्तीसगढ़ी ल सरकारी काम-काज के भाखा बनाए के उदीम वइसे कई बछर ले चलत हे, फेर नवा सरकार आए के बाद ये दिशा म थोकन तेजी आये हे। ये येकर सेती घलव कहे जा सकत हे, काबर के खुद मुख्यमंत्री ह, छत्तीसगढ़ी संग हल्बी, गोंडी, सरगुजिया अउ कुडु़क भाखा ल बढ़ावा देहे के बात सरगल करत आवत हें. उमन मंत्रालयीन अधिकारी-कर्मचारी मन ल घलव छत्तीसगढ़ी म गोठियाये, लिखे अउ पढ़े के सलाह घलोक दिए हें. फेर अभी एक खबर मिले हे तेकर मुताबिक मुख्यमंत्री ह खुदे एक अइसन पहल करे हें जेखर से ए उदीम मन ल अऊ बल मिले हे.
छत्तीसगढ़ी राजभाषा (संशोधन) अधिनियम, 2007 के प्रावधान अउ राजभाषा के रद्दा के रोड़ा का हे पढ़व अउ वीडियो तको ये कड़ी ले देखव – कब बनही छत्तीसगढ़ी ह राज-काज के भाषा
आप मन सोचत होहू अब मुख्यमंत्री ह अइसे का कर देहे हे ? त, ख़बर ये हे, कि मुख्यमंत्री वइसे तो मंत्री अऊ छत्तीसगढ़ी बोलइया अधिकारी मन ले छत्तीसगढ़ीच म गोठियाथे, फेर ओ मन ह छत्तीसगढ़ी ल सरकारी काम-काज म घलोक धीरे-धीरे उपयोग म लाए म जुट गए हें. एकर प्रमाण हे ये चिट्ठी, जेमां मुख्यमंत्री ह छत्तीसगढ़ी म लिखे हें, ‘मोर ले चरचा करव’ मंत्री जी. ये चिट्ठी के पीछू के बात ये हे के, कांग्रेस विधायक बृहस्पति सिंह ह मुख्यमंत्री ल अपन क्षेत्र म स्वास्थ्य सेवा ल लेके एक चिट्ठी लिखे रहिन, उही चिट्ठी म मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ह ‘मार्क’ करत छत्तीसगढ़ी म लिखे हें कि ‘मोर ले चरचा करव’ मंत्री जी. सीएम के छत्तीसगढ़ी म लिखे जवाब, ये बताय बर काफी हे, कि ओ मन राजभाषा छत्तीसगढ़ी ल सरकारी काम-काज के भाखा बनाए के दिशा म आगू बढ़त हें. येकर से ये खच्चित रूप ले ये संदेश, शासन अऊ प्रशासन म जाही, कि जब मुख्यमंत्री खुदे छत्तीसगढ़ी म लिखा-पढ़ी करे के उदीम करत हें, त सरकार के कारिंदा खुदे अइसन उदीम करे बर खुदे प्रेरित होहीं. वइसे हम आप मन ल बता देवन के मुख्यमंत्री मन एखर ले पहिली आंगनबाड़ी कार्यकर्ता अऊ सरपंच मन ल घलोक छत्तीसगढ़ी म चिट्ठी लिखे रहिन.
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हमर ये मानना हे कि 19 साल बाद घलोक राजभाषा छत्तीसगढ़ी म सरकारी काम-काज के नइ होना दुःखद हे, फेर अब खुशी ये बात ल लेके हे कि खुदे मुख्यमंत्री एला लेके सोंचत हे. जब ओ मन खुदे छत्तीसगढ़ी लिखा-पढ़ी करत हें त खच्चिते अब छत्तीसगढ़ी भाखा ह सरकारी काम-काज के भाखा बनही. जब मुखिया कोनो काम ल आगू बढ़ाथे, त ओखर असर बाकी सबो जगा दिखथे.
लल्लूराम के समाचार के छत्तीसगढ़ी अनुवाद
छत्तीसगढ़ी राजभाषा (संशोधन) अधिनियम, 2007 के प्रावधान अउ राजभाषा के रद्दा के रोड़ा का हे पढ़व अउ वीडियो तको ये कड़ी ले देखव – कब बनही छत्तीसगढ़ी ह राज-काज के भाषा