पहिली गेंगरूवा ल देखके डर लागत रहिस, फेर अब तो ये मोर घर के सदस्य ये :उर्वशी अउ संगीता

रायपुर, माटी ल उर्वरा बनइया गेंगरूवा मन किसान मन के संगी कहाथें, फेर का माटी म रहइया गेंगरूवा मन महिला मन के मितान हो सकत हे, का इही गेंगरूवा मन महिला मन बर आय के साधन बन सकत हे। सुनने म तो अजीब लागथे फेर अइसनहेच होवत हे अऊ ये संभव कर देखाए हे कांकेर के गीतपहर ग्राम पंचायत म रहइया महिला मन ह। गीतपहर के महिला मन ल न तो गेंगरूवा मन ले डर लागथे न ही वो ए मन ल देखके दूर भागथें, भलुक गेंगरूवा मन ल ही अपन मितान बनाके महिला मन ह अपन खातिर समृद्धि के द्वार खोल ले हे।
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के सुराजी गांव योजना के अंतर्गत गीतपहर के रहइया उर्वशी जैन ह करीबन डेढ़ साल पहिली गौठान के माध्यम ले केंचुआ पालन के काम शुरू करे रहिस अऊ आज सरस्वती महिला स्व सहायता समूह के माध्यम ले उर्वशी अब तक 1 लाख 37 हजार रूपिया के 7 क्विंटल गेंगरूवा बेच डरे हे अऊ अभी घलोक इंकर पास नवा गौठान मन अऊ किसान मन के आपूर्ति बर बहुत गेंगरूवा हे, एखर संग ही वर्मी कंपोस्ट बेचके इमन 1 लाख 39 हजार रूपिया के लाभ कमा उरे हें। ये कहानी सिरिफ उर्वशी के ही नो हे भलुक जेपरा ग्राम के रहइया संगीता पटेल घलोक डेढ़ बछर म 90 हजार रूपिया के 5 क्विंटल गेंगरूवा बेच डरे हे अऊ इंकरे मदद ले 40 क्विंटल वर्मी कंपोस्ट बेचके 2 लाख रूपिया के लाभ कमाए हे।

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