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स्व सहायता समूह ले जुड़े ले आर्थिक आजादी के रद्दा होइस आसान

रायपुर, ग्रामीण आजीविका मिशन (बिहान) योजना अंतर्गत लक्ष्मी स्व सहायता समूह ले जुड़े ले व्यवसायिक सोंच मन म जागृत आइस अऊ खुद ले कुछ व्यवसाय करके आर्थिक आजादी के रद्दा म चले के दिशा मिलीस, ये कहना हे सारागांव के ममता देवांगन के। रायपुर जिला के जनपद पंचायत धरसीवा अंतर्गत सारागांव के ममता देवांगन ह बताइस कि ओ ह स्व सहायता समूह ले जुड़े के पहिली एक सादा गृहणी रहिस अऊ ओला अपन खरचा बर तको अपन परिवार वाले उपर निर्भर रहना परत रहिस।
वो ह बताइस कि छत्तीसगढ़ ग्रामीण आजीविका मिशन (बिहान) ले जुड़के स्व सहायता समूह के सबो सदस्य मन म सकारात्मक बदलाव आइस। सबके मन म कुछ कर गुजरे अऊ खुद म आत्मनिर्भर बनने अउ आर्थिक आजादी पाय के भावना जागृत होइस। ममता ह बताइस कि वो ह सिलाई काम, सिलाई प्रशिक्षण अउ साड़ी विक्रय के काम चालू करिस। ओ ल सिलाई काम पहिलीच ले आत रहिस। वो ह अपन तीर रखे कुछ पइसा अउ परिवार के मदद ले तनुजा साड़ी सेंटर अउ सिलाई के काम चालू करिस, संगेच वो ह महिला मन ल सिलाई प्रशिक्षण घलोक देना शुरू करिस। ममता ह बताइस कि ओ ल सिलाई प्रशिक्षण, सिलाई करे अउ महिला मन के साड़ी विक्रय काम ले अभी हाल म हर महिना दस हजार रुपए ले जादा के आमदनी होवत हे अऊ संग म आन महिला मन ल सिलाई प्रशिक्षण ले आजीविका बढ़ाए बर वोकर कोति ले प्रयास घलोक करे जात हे ताकि महिला मन घलोक अपन जीवन स्तर ल सुधारत सफलता के सीढ़िया चढ़ सकयं।
वो ह बताइस कि वोखर परिवार म वोखर पति अऊ दू लइका हे। अब बने आमदनी होए ले लइका मन के पढ़ाई लिखाई अउ आन पारिवारिक जरूरत मन ल पूरा कर पात हन। ममता ह बताइस कि ग्रामीण महिला मन अब स्व सहायता समूह ले जुड़के आर्थिक रूप ले सक्षम होवत हें। अपन खुद के व्यवसाय के कुशतापूर्वक संचालन घलोक करे लगे हें।

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