कोण्डागांव, 29 अप्रैल 2020। डॉक्टरों, स्वास्थ्य कर्मियों, पुलिस अऊ प्रशासनिक कर्मचारी मन के अथक मिहनत अउ उदीम के चलते लॉकडाउन म बन्द दरवाजा मन के पीछू पूरा देश अपन आप ल सुरक्षित पावत हे। इखंर मन के संगे-संग अइसनहे महिला स्वसहायता समूह के महिला मन घलोक अपन कोति ले कंधा ले कंधा मिलाके कोरोना ल हराए बर काम करत हें। जिहां शासन-प्रशासन मनखे मन के स्वास्थ्य, पोषण अऊ रक्षा के खयाल रखत हे उहें गांव के महिला मन के स्वसहायता समूह ये बेरा म ग्रामीण अर्थव्यवस्था के मजबूत नींव बन के अर्थव्यवस्था ल गिरे ले बचावत हें। एक कोति ये वनोपज के खरीदी करत दिखथें त दूसर कोति ये कोरोना ले लड़े बर मास्क अऊ सेनेटाइजर बनात दिखथें। कहूं ये बैंक सखी के रूप म गांव वाले मन ल नगद पहुंचाथें त कहूं ये गरम भोजन तियार करके भूखे मन ल जेवन कराथें। ये विपदा काल म महिला समूह मन ह ना केवल नारी शक्ति के प्रदर्शन करत हें भलुक नवा रोजगार के अवसर ले अपन आप ल जोड़ के अपन आसपास के महिला मन ल घलोक जोड़त हें।
राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन ’बिहान’ योजना के अंतर्गत कोण्डागांव जिला म महिला मन ल सबो जरूरी गतिविधि बर जरूरी प्रशिक्षण देके, स्वरोजगार बर धनराशि ऋण के रूप कम ब्याज दर म आसान किश्त म देहे जाथे। जेखर से ये स्व-उद्यम ले स्वाभिमान के संग मूड़ी उठा के समाज के संग कंधा ले कंधा मिला के काम करंय। ये काम ल आसान बनाए बर कई स्तर म संगठन के बनाए गए हे जऊन ग्राम स्तर ले विकासखण्ड स्तर तक हे। जे ह ए समूह मन ल जरूरी सामान, प्रशिक्षण अउ समूह निर्माण म घलोक मदद करत हें। वनांचल मन के महिला समूह वनोपज संग्रहण ले जुड़ के गांव मन म खुशहाली के रद्दा बनावत हें। अब तक जिला म 400 महिला स्व सहायता समूह मन 28 प्रकार के वनोपज के नगद भुगतान ले करीबन 5 करोड़ 31 लाख के लघु वनोपज मन के संग्रहण के काम कर डरें हें।
ए महिला कोरोना वॉरियर्स मन ह लॉक डाउन के 3 दिन के भीतर मास्क उत्पादन काम कर दीन। ये मा धीरे-धीरे करत अब तक 107 महिला स्व सहायता समूह के 183 सदस्य मन अब तक ये अभियान ले जुड़ गे हे, जे मन अब तक कुल 54 हजार ले जादा मास्क बनाए हें।