दंतेवाड़ा, छबिंद्र नाग विकासखण्ड गीदम के निवासी ये, जेन ह अपने खुद के जमीन म तरिया बना के मछरी पालन के शुरुआत करे हे। ये व्यवसाय ले ओला एक साल म करीबन तीन लाख रूपिया के आमदनी होए हे। छबिन्द्र नाग पहिली किसानी काम कर के अपन परिवार के भरण-पोसण करत रहिस। धीरे-धीरे अपन गांव गीदम तीर खुद के जमीन के 1.0 हेक्टेयर म तलाब बनवाईस। जेमां मछली पालन के काम चालू करिस। शुरू म तो मछली पालन के उन्नत तकनीकी के जानकारी नइ होए के सेती मछली के उत्पादन बहुत सीमित मात्रा म होत रहिस। जेखर से आर्थिक समस्या के सामना करना परत रहिस। मछली पालन ल व्यवसाय के रूप म करे बर छबिन्द्र ह मत्स्य पालन विभाग के मत्स्य अधिकारी ले संपर्क करिस अफ मछली पालन ले संबंधित उन्नत तकनीक बउ तालाब प्रबंधन के बारे म जानकारी लेके बेहतर तरीका ले मछली पालन के काम सुरू करिस। वोला मत्स्य विभाग कोति ले मत्स्य बीज अंगुलिका देहे गीस। उन्नत तकनीक अऊ उचित प्रबंधन ल अमल करत अब वो ह हर बछर करीबन 1.5 टन मत्स्य उत्पादन करत हे अऊ स्थानीय बाजार म बेंचे ले ओला करीबन 3 लाख रूपिया तक के आमदनी प्राप्त होवत हे। कृषक अपन ये मुनाफा ले खुश हे अऊ अपन परिवार के संग अपन आर्थिक अऊ सामाजिक स्थिति म सुधार करके आगू बढ़त हे, संगेच आन मनखे मन ल ये काम बर प्रेरित तको करत हे।