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वनांचल के आदिवासी किसान मन बर रेशम कीट पालन बनिस अकतहा आय के जरिया

रायपुर, 13 अक्‍टूबर 2020। वनांचल के आदिवासी किसान मन बर रेशम कीट पालन अकतहा आय के जरिया बन गए हे। जशपुर जिला के फरसाबहार विकासखण्ड के ग्राम जोरण्डाझरिया के करीबन 10-12 श्रमिक मन ह टसर ककून के उत्पादन ले रोजगार के संबंध म अपन रुचि देखाए हें। इंकर रुचि अऊ इच्छाशक्ति ल देखत रेशम विभाग ह इंकर एक समूह बनाए हे अऊ ए मन ल कुशल कीटपालन के प्रशिक्षण देहे हे। ये समूह ल कृमिपालन बर टसर कीट के रोगमुक्त अण्डा घलोक निःशुल्क देहे गए हे। ये समूह ह साल 2016-17 म पहली पइत एक लाख 38 हजार 926 टसर कोकून के उत्पादन करे रहिस अऊ ओखर से एक लाख 10 हजार 214 रूपिया के आय अर्जित करिस। पहिली महात्मा गांधी नरेगा ले मजदूरी अऊ ओखर बाद कोसाफल उत्पादन के रुप म सहायक रोजगार ह समूह के सदस्य मन ल ये काम म उत्साही बना देहे हे। समूह ह साल 2016-17 ले 2019-20 तक कुल 2 लाख 75 हजार 454 कोसाफल के उत्पादन करके दू लाख 88 हजार रुपिया के आमदनी कमाए हे। ये आय ओ मन ल मजदूरी के रुप म विभाग कोति ले स्थापित ककून बैंक के माध्यम ले प्राप्त होए हे।

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