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रक्षा बंधन के ये तिहार म बहिनी मन बर हैंड मेड कंगन झुमका अऊ भाइ मन बर वैदिक राखी

ग्रामीण अऊ शहरी अंचल म स्वसहायता समूह के महिला मन बनावत हें राखी
छत्तीसगढ़ के माटी के खुशबू ले सजे ए राखी ले सजावव भाइ मन के कलाइ अऊ मदद करव महिला मन के स्वावलम्बन के सफर म
दुर्ग, 26 जुलाई 2020। रक्षाबंधन के तिहार नजदीक हे। कोविड संकट के सेती भाइ मन के कलाइ ह सूना झन रह जाए ए खातिर ग्रामीण अऊ शहरी अंचल म महिला मन राखी बनावत हें। ए राखी मन म छत्तीसगढ़ के माटी के महक तो हेच संगेच दर्जनों महिला मन ल घर बइठे काम घलोक मिले हे। ए खातिर कहूं हम ए महिला मन के हाथ ले बने राखी बिसाबोन त न सिरिफ इंकर हौसला अफजाई होही भलुक आत्मनिर्भरता के ये सफर म एक बड़का योगदान घलोक होही।

भिलाई के महिला मन बनावत हें वैदिक राखी
भिलाई के स्‍व सेवी संस्था छत्तीसगढ़ उड़ान नवा दिशा के निधि चंद्राकर ह दर्जनों महिला मन ल वैदिक राखी बनाए के प्रशिक्षण देहे हे। हल्दी, कुमकुम, चंदन, गोबर आदि ले बने ए राखी मन ल वैदिक राखी के नाम देहे गए हे। बहिनी भाई के मया के परब रक्षाबंधन रक्षा के सूत्र के ये प्यार म जब पंचद्रव्य म सामिल गोबर अऊ मौली धागा सामिल हो जाय त एकर महत्व अऊ जादा बाढ़ जाथे। देश म बायकॉट चाइना के मुहिम के बीच चाइनीज राखी मन के जमके बहिष्कार घलोक होवत हे। आपदा ल अवसर म बदले के ताकत त हेच, ए महिला मन म फेर छत्तीसगढ़ सरकार अऊ मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल के प्रोत्साहन ले इनला हौसला मिले हे। वैदिक राखी बनइया ए महिला मन के मानना हे के हाथ ले बने राखी जब भाई के कलाई म सजही त ओ प्रेम के अलगेच अहसास होही।

मुख्यमंत्री जी ल घलोक भेंट करना चाहत हें ये वैदिक राखी
समूह के महिला मन गोबर ले बने ये वैदिक राखी ल मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ल भेजना चाहत हें काबर के छत्तीसगढ़ के परंपरा ल सहेजे के उंखरे पहल ले उनला हौसला मिले हे। महापौर श्री देवेंद्र यादव ह घलोक महिला मन के ये पहल के सराहना करे हें।

शहर वासी मन ले अपील के वैदिक राखी मन ले सजावव भाई के कलाई : सिरिफ 20 रुपए म उपलब्‍ध हे वैदिक राखी
संस्था के संचालक श्रीमती निधि चंद्राकर बहुतेच समय ले महिला मन ल अलग-अलग प्रकार के हुनर सीखे म मदद करत हे। वो ह घर म रहइया मध्यम वर्गीय अऊ गरीब गृहिणी मन ल अपन संस्था म जोड़े हे अऊ मास्क निर्माण, मोमबत्ती, कपड़ा के थैली अऊ पर्स निर्माण के प्रशिक्षण उपलब्‍ध कराए हे। श्रीमती निधि के मानना हे के आज इंकर पास हुनर तो हे कहूं शहरवासी मन के सहयोग मिल जाही त ये आत्मनिर्भर हो सकहीं।

ग्रामीण अंचल म बिहान के दीदी मन बहिनी मन बर होम मेड कंगन-झुमका अऊ भाइ मन बर बनावत हें राखी
ये पइत रक्षा बंधन के तिहार म बिहान के दीदी मन बहिनी मन बर झुमका कंगन अऊ भाइ मन बर राखी बनावत हें। ग्रामीण अंचल मन म बिहान योजना के तहत महिला मन ल चूड़ी, झुमका अऊ आन आर्टिफिशियल ज्वेलरी के संग राखी निर्माण के प्रशिक्षण मिले हे। गांव-गांव म किशोरी बालिका मन ह घलोक ये मा सहयोग करे हें अऊ राखी बनावत हें। जिला के तीनों जनपद पंचायत मन म महिला मन राखी बनावत हें। जनपद पंचायत ह कच्चा माल क्रय करे बर राशि घलोक उपलब्‍ध कराए हे। महिला मन ल भरोसा हे के ग्रामीण अंचल म उंखर राखी अऊ आर्टिफिसियल ज्वेलरी मन ल पसंद करे जाही। इंकर प्रोडक्ट बने गुणवत्ता के हे अऊ कम दाम म उपलब्‍ध हे।

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